नागपुर. महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले में नक्सलियों से मुठभेड़ से पहले सोमवार को पुलिस की सी-60 विशेष लड़ाकू इकाई के कमांडो कुमोद आत्राम और उनके साथियों को 70 घंटे तक जंगलों में पैदल चलना पड़ा. यहां 21 अक्टूबर को दो मुठभेड़ों में कुल 38 लाख रुपये के इनामी पांच नक्सली मारे गए थे जबकि अत्राम को दो गोलियां लगी थीं और अब सर्जरी के बाद एक निजी अस्पताल में उनका उपचार किया जा रहा है.
उन्होंने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ”मैं अपने काम के प्रति प्रतिबद्धता में विश्वास रखता हूं.” सी-60 गढ़चिरौली पुलिस का एक विशेष नक्सल विरोधी बल है. आठ साल से गढ़चिरौली पुलिस में सेवारत आत्राम को करीब 10 मुठभेड़ों में 39 नक्सलियों को ढेर करने का श्रेय दिया जाता है. इस जिले की सीमा छत्तीसगढ़ से लगते हुए है.
केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के सी-60 कमांडो और त्वरित कार्रवाई दल के र्किमयों ने सुदूर भामरागढ़ तहसील के कोपरशी के जंगलों में सोमवार को हुई मुठभेड़ में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी. अत्राम ने बताया, ”जब हम अबूझमाड़ के दुर्गम इलाके में 70 घंटे से अधिक समय तक पैदल चले थे, तभी नक्सलियों ने हम पर हमला कर दिया. गोलीबारी सुबह करीब आठ बजे शुरू हुई और करीब 10 बजे भारी गोलीबारी के बीच मुझे गोली लग गई.” इसके बाद उन्हें हेलीकॉप्टर से नागपुर ले जाया गया. पुलिस के अनुसार, मुठभेड़ में मारे गए लोगों में माओवादियों के प्रभागीय कमेटी के दो सदस्य भी शामिल हैं.